कनसुआ

       प्रौढ़ मटमैले भूरे रंग के तितलीनुमा होते हैं।

       मादा पत्तियों की निचली सतह पर समूह में भूरे-सफेद रंग के अण्डे देती है, जिनसे निकली सूण्डियों के शरीर पर लम्बार्इ के बल पांच गहरी धारियां होती हैं।

       सूण्डियां जमीन की सतह या थोड़ा नीचे जाकर तने में घुसकर पौधों को खाती हैं जिस कारण पौधों की गोभ मर जाती है। सूखी गोभ खींचने पर आसानी से बाहर जाती है इसमें शराब जैसी दुर्गन्ध आती है।